उज्जैन। एक तरफ जहाँ सारी दुनिया कोराना नामक बीमारी तथा कोविड 19 नामक वायरस से लड़ रही है तो वहीं इस महामारी से बचाव तथा मानव जीवन पर पड़ने वाले इसके प्रभाव से सारी दुनिया चिंतित है। दुनियाभर की सरकारी तथा निजी संस्थाओं द्वारा इस पर शोधकार्य किया जा रहा है। इसी तारतम्य में 15 मई 2020 को राजस्थान के अलवर स्थित सनराईज विश्वविद्यालय द्वारा ‘नावेल टेक्नोलाॅजी एंड जाॅब अर्पाचुनिटी आफ्टर कोविड-19‘ विषय पर अंतरराष्ट्रीय वेबिनार का आयोजन किया गया, जिसमें देशभर के विद्वानों ने आनलाईन सहभागिता की। उज्जैन से डाॅ. मोहन बैरागी ने इस विषय पर अपने विचार व्यक्त किये तथा इस महामारी तथा इसके चलते जाॅब अर्पाचुनिटी पर कहा कि भारतीय तकनीकों को अपनाकर आत्मनिर्भर होकर स्वरोजगार की दिशा में कदम बढ़ाया जाना चाहिये। तथा महामारी की रोकथाम के हर संभव उपाय अपनाना चाहिये। वेबिनार की अध्यक्षता सनराईज विश्वविद्यालय के कुलपति डाॅ. अनुप प्रधान ने की तथा मुख्य उदबोधन फार्मेसी विभाग विभागाध्यक्ष डाॅ. योगेन्द्र सिंह ने दिया। वेबिनार के उपरांत सभी प्रतिभागियों को आनॅलाईन प्रमाणपत्र का प्रेषण किया गया।
‘नावेल टेक्नोलाॅजी एंड जाॅब अर्पाचुनिटी आफ्टर कोविड-19‘ विषय वेबिनार में डाॅ. बैरागी को मिला आनॅलाईन कोविड प्रमाणपत्र